श्रीराम ने अग्नि को साक्षी मानकर की सुग्रीव से मित्रता

माता शेवरी का फल खाना, हनुमान, राम मिलन तथा सुग्रीव से मित्रता


गाजीपुर। अतिप्राचीन रामलीला कमेटी हरिशंकरी के तत्वावधान में लीला के बारहवे दिन 2 अक्टूबर शाम 7 बजे लंका मैदान में बन्देवाणी विनायको आदर्श रामलीला मण्डल के कलाकारों द्वारा लीला में माता शेवरी का फलखाना, हनुमान राम मिलन तथा सुग्रीव से मित्रता लीला का मंचन देखकर दर्शक मंत्र मुग्ध हो गये। बताते चले कि श्रीराम अपनी भार्या सीता की खोज करते हुए मतंग ऋषि के आश्रम जहॉ माता शेवरी अपने गुरू मतंग ऋषि की सेवा करती थी उस आश्रम पर पहुचते है शेवरी के आश्रयम पर पहुचते ही श्री राम को देखकर शेवरी उन्हे आश्रम के अन्दर ले जाकर सुन्दर आसन पर बिठा कर कन्दमूल फल देती है शेवरी द्वारा दिए गए फल को श्रीराम बड़े प्रेम से खा रहे। श्रीराम उसके भक्ति को दंखकर नौ प्रकार की भक्ति प्रदान दे कर प्रस्थान कर देते है। उसके बाद श्रीराम, लक्ष्मण किसकिन्धा पर्वत पर पहुचकर श्रीराम की मित्रता श्री हनुमान से होती है। श्री हनुमान सुग्रीव जी के बारे में तथा उनके साथ बालि द्वारा किये अत्यचार की जानकारी देते है तथा श्री राम, लक्ष्मण को अपने कन्धों पर विठाकर वानरराज सुग्रीव के पास लाकर श्रीराम से मिलवाते है। श्रीराम ने अग्नि को साक्षी माकर मित्रता कर लेते है। इस अवसर पर मंत्री ओमप्रकाश तिवारी, उपमंत्री पं0 लव कुमार त्रिवेदी, कोषाध्यक्ष रोहित अग्रवाल, प्रबन्धक वीरेश राम वर्मा, उपप्रबंधक मयंक तिवारी, विश्वम्भर गुप्ता, कृष्ण बिहारी त्रिवेदी पत्रकार, राम सिंह यादव आदि उपस्थित रहे।

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