20 प्रतिशत वृद्धि के साथ ईंट भट्ठा मालिकों को जमा करना होगा विनियमन शुल्क

गाजीपुर। जिलाधिकारी द्वारा सूचित किया गया है कि विशेष सचिव, उ0प्र0 शासन, भूत्तव एवं खनिकर्म अनुभाग लखनऊ द्वारा ईट भट्ठा सत्र 2023-24 के लिए उ0प्र0 उपखनिज (परिहार) नियमावली, 2021 के नियम- 21(2) के अनुसार ईट- भट्ठा मालिकों से पायो के आधार पर विनियमन शुल्क गत सत्र- 2022-2023 से ईट भट्ठा सत्र 2023-2024 हेतु 20 प्रतिशत वृद्धि के साथ लिये जाने का निर्णय लिया गया है। शासनादेश में निर्देशित किया गया है कि ईट भट्ठा स्वामी को पोर्टल पर ऑनलाईन आवेदन करना होगा। आवेदन के साथ रू 2000 का आवेदन शुल्क, ईट भट्ठा स्वामी का विवरण, भट्ठा स्थल सहित विवरण, भट्ठा का प्रकार (सामान्य/जिग-जैग), पायों की संख्या, ईट-मिट्टी के खनन क्षेत्र का विवरण, भट्ठा-सत्र सहित वांछित विवरण फीड करना होगा। ईट भट्ठा स्वामी को आवेदन – पत्र के साथ ईट-भट्ठे के सम्बन्ध में रायल्टी/विनियमन शुल्क बकाया न होने का शपथ -पत्र भी प्रस्तुत करना होगा। फीड की गयी सूचना के अनुसार ईट भट्ठों के पायों की संख्या के आधार पर विनियमन शुल्क एवं पलोथन की धनराशि अग्रिम रूप से पोर्टल पर प्रदर्शित लिंक के माध्यम से ऑनलाईन भूतत्व एवं खनिकर्म विभाग के लेखाशीर्षक ‘‘ 0853- अलौह खनन तथा धातुकर्म उद्योग- 102- खनिज रियायत शुल्क किराया और स्वत्व शुल्क‘‘ में जमा की जायेगी। विनियमन शुल्क आनलाईन जमा करने पर ईट भट्ठा स्वामी ‘‘विनियमन शुल्क जमा का प्रमाण-पत्र‘‘ पोर्टल से जनित कर सकेंगे। ईट- भट्ठा स्वामियों द्वारा विनियमन शुल्क अग्रिम रूप से जमा किये जाने के उपरान्त ही ईट भट्ठे का संचालन किया जायेगा। विनियमन शुल्क की धनराशि जमा किये बिना संचालित ईट भट्ठो के विरूद्ध नियमानुसार कार्यवाही की जायेगी। ईट मिट्टी के लिये देय विनियमन शुल्क की धनराशि के 10 प्रतिशत के समतुल्य धनराशि ईट बनाने के काम आने वाली पलोथन मिट्टी (बलुई मिट्टी) के लिये ईट- भट्ठा स्वामियों द्वारा जमा किया जाना होगा। 30 अक्टूबर 2023 तक जमा की गयी विनियमन शुल्क की धनराशि पर किसी प्रकार का ब्याज देय नही होगा किन्तु उक्त तिथि के उपरान्त जमा की गयी धनराशि पर नियमानुसार ब्याज देय होगा।

Leave a comment

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.