डॉ. मनोज कुमार सिंह बने वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय मनोविज्ञान विषय के अध्ययन परिषद के नए संयोजक, छात्रों ने किया स्वागत
गाज़ीपुर। उत्तर प्रदेश राज्य विश्वविद्यालय अधिनियम, 1973 की धारा 68 के अधीन डॉ. मनोज कुमार सिंह द्वारा राज्यपाल के समक्ष प्रस्तुत वाद (संदर्भ संख्या 35/2024, डॉ. मनोज कुमार सिंह बनाम कुलपति) के प्रश्नगत प्रकरण पर एक महत्वपूर्ण घटनाक्रम सामने आया है। अंतिम निस्तारण से पूर्व, कुलपति प्रो. वंदना सिंह ने विश्वविद्यालय में मनोविज्ञान विषय के नियम विरुद्ध गठित अध्ययन परिषद को भंग कर दिया है और पूर्व संयोजक की नियुक्ति निरस्त करते हुए, डॉ. मनोज कुमार सिंह को वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय के मनोविज्ञान विषय के अध्ययन परिषद का नया संयोजक नियुक्त किया है।

कुलपति के इस निर्णय का शिक्षा जगत में स्वागत किया गया है। नए संयोजक डॉ. मनोज कुमार सिंह ने अपनी नियुक्ति के उपरांत, अध्ययन परिषद की पहली बैठक 15 अक्टूबर 2025 को पूर्वाह्न 11:30 बजे से विश्वविद्यालय सभागार में आहूत की है। इस बैठक में मनोविज्ञान विषय के शैक्षणिक उन्नयन, पाठ्यक्रम सुधार और विभाग के विकास से संबंधित महत्वपूर्ण बिन्दुओं पर विचार-विमर्श होने की संभावना है। इस अवसर पर, पूर्व छात्रसंघ उपाध्यक्ष दीपक उपाध्याय के नेतृत्व में छात्रों के एक दल ने पी.जी. कॉलेज, गाज़ीपुर के मनोविज्ञान विभागाध्यक्ष एवं वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय के अध्ययन परिषद (मनोविज्ञान) के नव-नियुक्त संयोजक डॉ. मनोज कुमार सिंह से मिलकर उन्हें बधाई दी। छात्रों ने आशा व्यक्त की है कि उनके गतिशील और न्यायोचित नेतृत्व में मनोविज्ञान विषय प्रसिद्धि और उन्नति की ओर अग्रसर होगा और शिक्षण-अधिगम की गुणवत्ता में उल्लेखनीय सुधार आएगा।

डॉ. मनोज कुमार सिंह ने इस ज़िम्मेदारी के लिए कुलपति प्रो. वंदना सिंह का आभार व्यक्त किया है और कहा है कि वे विश्वविद्यालय के नियमों और छात्रों के हितों को सर्वोपरि रखते हुए मनोविज्ञान विभाग को नई ऊँचाइयों पर ले जाने के लिए प्रतिबद्ध हैं। संयोजक के अलावा 6 सदस्य कमेटी में बनाए गए हैं। स्वागत करने वाले छात्रों आकाश चौधरी,निलेश बिन्द, रोहित, कल्पना,जिकरा, असलम,सना,अंकित, दीपक उपाध्याय इत्यादि छात्र मौजूद थे।

