10 से 28 अगस्त तक चलेगा सर्वजन दवा सेवन अभियान

गाजीपुर। राष्ट्रीय फाइलेरिया उन्मूलन कार्यक्रम के तहत मुख्य चिकित्सा अधिकारी कार्यालय सभागार में बुधवार को सर्वजन दवा सेवन (एमडीए) कार्यक्रम को लेकर मीडिया संवेदीकरण कार्यशाला का आयोजन किया गया।  कार्यशाला में डब्ल्यूएचओ, पाथ एवं पीसीआई संस्था ने महत्वपूर्ण सहयोग किया। कार्यशाला की अध्यक्षता करते हुए मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डॉ सुनील पाण्डेय ने कहा कि फाइलेरिया उन्मूलन को लेकर सर्वजन दवा सेवन अभियान के लिए समस्त तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। यह अभियान 10 अगस्त से 28 अगस्त तक जनपद के सैदपुर, सदर, बिरनो, कासिमाबाद, मोहम्मदाबाद एवं भदौरा ब्लॉक में संचालित किया जाएगा। अभियान के तहत करीब 16 लाख लक्षित आबादी को फाइलेरिया से बचाव की दवा (एल्बेण्डाजोल व डीईसी) खिलाई जाएगी। इसके लिए ब्लॉकों में 1428 टीमें तैयार की गईं हैं। एक टीम में दो सदस्य (आशा कार्यकर्ता व स्वास्थ्य कर्मी) रहेंगे। 2856 ड्रग एडमिनिस्ट्रेटर और 237 सुपरवाइज़र तैनात किए गए हैं। इन ब्लाकों के ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन व सुपरवाइज़र का प्रशिक्षण एवं टास्क फोर्स की बैठक हो चुकी है। इन सभी ब्लॉकों में पर्याप्त मात्रा में दवा उपलब्ध है। अभियान में पंचायत राज विभाग, आजीविका मिशन, सार्वजनिक वितरण प्रणाली, शिक्षा विभाग, दिव्यांग कल्याण विभाग, आईसीडीएस, नगर विकास विभाग, अल्पसंख्यक विभाग, समाज कल्याण विभाग एवं आईएमए से सहयोग लिया जाएगा।  
सीएमओ ने बताया कि फाइलेरिया (फीलपाँव या हाथीपाँव) वाहक मच्छर क्यूलेक्स के काटने के बाद इसके लक्षण पांच से 15 साल के बाद दिखाई देते हैं। इसलिए एक साल से ऊपर के सभी बच्चों, किशोर-किशोरियों, वयस्कों, वृद्धजनों को फाइलेरिया से बचाव की दवा जरूर खानी चाहिए। यह दवा स्वास्थ्यकर्मी और आशा कार्यकर्ताएं घर-घर जाकर अपने समक्ष खिलाएँगी। दवा खाली पेट नहीं खानी है। यह दवा एक वर्ष से कम उम्र के बच्चों, गर्भवती और अति गंभीर रूप से बीमार व्यक्तियों को नहीं खानी है। इस दवा के पाँच साल लगातार और साल में एक बार सेवन करने से हम अपना जीवन सुरक्षित बना सकते हैं। सीएमओ ने समस्त मीडिया बंधुओं के माध्यम से जनमानस से अपील की कि फाइलेरिया से बचाव के लिए दवा का सेवन जरूर करें और दूसरों को भी प्रेरित करें।


जिला मलेरिया अधिकारी (डीएमओ) मनोज कुमार ने कहा कि किसी भी संदेश को जनमानस तक पहुंचाने में मीडिया की अहम भूमिका होती है। इसी उद्देश्य से फाइलेरिया एमडीए कार्यक्रम को लेकर मीडिया संवेदीकरण कार्यशाला का आयोजन किया गया है। उन्होंने कहा कि फाइलेरिया उन्मूलन के लिए वर्ष 2027 तक का लक्ष्य रखा गया है, जिसके तहत लगातार प्रभावी नियंत्रण को लेकर कार्यवाही की जा रही है। इसका परिणाम है कि जहाँ वर्ष 2023 में जनपद के सभी 16 ब्लॉक और गाजीपुर नगर पालिका में यह अभियान चलाया गया था तो वहीं वर्ष 2024 में 13 ब्लॉक और गाजीपुर नगर पालिका में चलाया गया।अब इस वर्ष यह अभियान मात्र 6 ब्लॉक में चलाया जाएगा फाइलेरिया से प्रभावित अंग के साफ-सफाई और व्यायाम से इसे सिर्फ नियंत्रित किया जा सकता है। अभियान में स्वास्थ्यकर्मी अपने सामने फाइलेरिया से बचाव की दवा खिलाएँगे। इन दवाओं का वितरण बिल्कुल भी नहीं किया जायेगा। दवा का सेवन खाली पेट नहीं करना है। यह दवाएं पूरी तरह से सुरक्षित हैं। हालांकि इन दवाओं का कोई विपरीत प्रभाव नहीं है। फिर भी किसी को दवा खाने के बाद उल्टी, चक्कर, खुजली या जी मिचलाने जैसे लक्षण होते हैंतो यह इस बात का प्रतीक हैं कि उस व्यक्ति के शरीर में फाइलेरिया के परजीवी मौजूद हैं। ऐसे लक्षण इन दवाओं के सेवन के उपरांत शरीर के भीतर परजीवियों के मरने के कारण उत्पन्न होते हैं। सामान्यतः यह लक्षण स्वतः ही समाप्त हो जाते हैं। परंतु ऐसी किसी भी परिस्थिति के लिए प्रशिक्षित रैपिड रिस्पॉन्स टीम (आरआरटी) भी बनाई गई हैं।

आवश्यकता पड़ने पर आरआरटी को उपचार के लिए तुरंत बुलाया जा सकता है। यह अभियान सोमवार, मंगलवार, गुरुवार, शुक्रवार के साथ कार्य दिवसों में चलेगा। शेष 10 ब्लॉक एवं गाजीपुर नगर पालिका में पेट के कीड़े के खात्मे के लिए राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस का आयोजन 11 अगस्त को किया जाएगा जिसमें 1 से 19 साल के बच्चों को स्कूलों,कालेजों और आंगनवाड़ी केंद्रों पर एल्बेण्डाज़ोल गोली की एक खुराक शिक्षकों और आंगन वाड़ी वर्कर्स के द्वारा खिलाई जाएगी। शेष बच्चों को घर-घर भ्रमण के दौरान आशा के द्वारा यह गोली खिलाई जाएगी।11 अगस्त को दवा खाने से वंचित बच्चों के लिए 14 अगस्त को मॉप अप चलाया जाएगा।
कार्यशाला में अन्य मच्छर जनित संचारी रोगों जैसे डेंगू, मलेरिया, चिकनगुनिया, कालाजार आदि को लेकर की जा रहीं प्रभावी कार्यवाई के बारे में भी जानकारी दी गई। मीडिया बंधुओं के साथ सवाल-जवाब सत्र भी चलाया गया। कार्यशाला में एसीएमओ व नोडल अधिकारी डॉ जेएन सिंह, एसीएमओ डॉ मनोज कुमार सिंह, एपिडेमियोलाजिस्ट डा० शहबाज़ खॉ,सहायक मलेरिया अधिकारी राम सिंह,संतोष कुमार, पाथ से अरूण कुमार, पीसीआई से राकेश यादव, फाइलेरिया निरीक्षक ऐश्वर्य गुप्ता, सुनील सोनकर, राज कुमार एवं अन्य अधिकारी व स्वास्थ्यकर्मी मौजूद रहे।

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